Edited By Prashar, Updated: 31 Jul, 2018 04:19 PM
बहुचर्चित व्यापमं घोटाले में हाईकोर्ट का पहला फैसला आ गया है। मंगलवार को मामले में मध्यप्रदेश हाईकोर्ट ने चार आरोपियों दीपक जाटव, भागीरथ,लक्ष्मी नारायण,दीवान जाटव को को 4-4 साल के कठोर कारावास की सजा सुनाई। मामले में अभी कई मुकदमें कोर्ट में चल रहे...
जबलपुर : बहुचर्चित व्यापमं घोटाले में हाईकोर्ट का पहला फैसला आ गया है। मंगलवार को मामले में मध्यप्रदेश हाईकोर्ट ने चार आरोपियों दीपक जाटव, भागीरथ,लक्ष्मी नारायण,दीवान जाटव को को 4-4 साल के कठोर कारावास की सजा सुनाई। यह फैसला वन रक्षक भर्ती 2013 फर्जीवाड़ा मामले में आया है। विशेष न्यायाधीश एसएस परमार की कोर्ट ने यह फैसला सुनाया है।
ये है मामला
गौरतलब है कि व्यापमं की अनेक परीक्षाओं में गड़बड़ी की शिकायतें सामने आई थीं और जांच के बाद यह पूरा घोटाला सामने आया। घोटाले में व्यवसायिक परीक्षा मंडल के बाबू से लेकर सरकार के कई बड़े अफसर, मंत्री, प्राइवेट अस्पतालों के संचालक और बड़े डाक्टर्स भी शामिल थे। इन सभी पर अलग-अलग अदालतों में केस चल रहे हैं। इनमें से एक मामले में हाईकोर्ट ने चार आरोपियों को सजा सुनाई है।
लिया गया मामला का पहला फैसला
व्यापमं मामले में जबलपुर जोन का यह पहला फैसला है। गौरतलब है कि मध्यप्रदेश हाईकोर्ट के निर्देश पर व्यापम घोटाले के प्रकरणों की सुनवाई के लिए चार अलग-अलग जोन बनाए गए हैं। इन चार जोन्स में से एक जबलपुर जोन भी है जिसमें आज फैसला आया।
अभियोजन के अनुसार वन रक्षक भर्ती 2013 फर्जीवाड़ा मामले में मुख्य आरोपी दीपक जाटव था। सॉल्वर लक्ष्मी नारायण, मिडलेमेन दीवान और भागीरथ जाटव भी इस फर्जीवाड़े में शामिल थे। वनरक्षक परीक्षा 2013 में दीपक की जगह लक्षमीनारायन ने एग्जाम दिया था। यह सौदा एक से डेढ़ लाख रुपए में तय हुआ था। आरोपी को दमोह में इंटरव्यू के दौरान पकड़ा गया था। बाद में चारों आरोपियों के खिलाफ कोर्ट में चालान प्रस्तुत किया गया जिस पर सुनवाई के बाद यह फैसला आया।