Edited By suman, Updated: 28 Aug, 2018 01:45 PM
दतिया जिला अस्पताल में स्टाफ की लापरवाही का एक चौंकाने वाला मामला सामने आया है। यहां दो अलग-अलग घटनाओं में मरीजों की जान खतरे में आ गई। स्टाफ की गंभीर लापरवाही की वजह से एक मरीज की मौत हो गई, जबकि एक अन्य घटना में करीब बीस मरीजों की हालत बिगड़ी तो...
ग्वालियर : दतिया जिला अस्पताल में स्टाफ की लापरवाही का एक चौंकाने वाला मामला सामने आया है। यहां दो अलग-अलग घटनाओं में मरीजों की जान खतरे में आ गई। स्टाफ की गंभीर लापरवाही की वजह से एक मरीज की मौत हो गई, जबकि एक अन्य घटना में करीब बीस मरीजों की हालत बिगड़ी तो सीनियर डॉक्टरों ने मौके पर पहुंच कर मामला संभाला। जिला चिकित्सालय में भर्ती जिला कांग्रेस उपाध्यक्ष सरनाम सिंह राजपूत के भाई इमरत पुत्र काशीराम को बुखार होने पर मेल मेडिकल वार्ड में भर्ती कराया गया था। इमरत को शाम के समय मेल नर्स भैरव शर्मा ने इंजेक्शन लगाया। इंजेक्शन लगते ही इमरत की हालत बिगडऩे लगी।
हालत बिगडऩे के कुछ ही देर बाद इमरत की मौत हो गई। जानकारी लगते ही परिजनों ने काफी हंगामा किया और स्टाफ व डॉक्टरों पर लापरवाही का आरोप लगाया। दूसरी मेल सर्जिकल वार्ड की है। इस वार्डमें शाम के समय करीब बीस मरीजों को एंटीबायोटिक एवं दर्द के इंजेक्शन लगाए गए। इंजेक्शन लगते ही सभी मरीजों को कंपकंपी छूट गई। मौके पर मौजूद ड्यूटी डॉक्टर को बुलाया।
ड्यूटी डॉक्टर सहित अन्य डॉक्टर मौके पर पहुंचे तो परिजनों व मरीजों ने डॉक्टरों का घेराव कर लिया। यह इंजेक्शन नर्स कमला वर्मा के कहने पर नर्स डी गौतम ने लगाए। इस दौरान सूचना मिलने पर पुलिस भी मौके पर पहुंची और मामले को शांत कराया। इस संबंध में सिविल सर्जन पी के शर्मा का कहना है कि नर्सों द्वारा एक ही निडल से इंजेक्शन दिए जाने की वजह से यह स्थिति बनी। अब मरीजों को आराम है। दोनों नर्सों को वार्ड से हटा दिया गया है और कार्रवाई के लिए सीएमओ को लिखा जाएगा।