Edited By meena, Updated: 09 Dec, 2021 07:36 PM
एक तरफ प्रदेश सरकार बेटियों को बचाने के कई योजनाएं चला रही है जिससे कि माता पिता पर बच्चों के पालन पोषण का बोझ ना पड़े, दूसरी तरफ नवजात बच्चियों की हत्याएं हो रही है। दरअसल, होशंगाबाद थाना कोतवाली क्षेत्र के खोजनपुर निवासी एक महिला ने अपनी दुधमुंही...
होशंगाबाद(गजेंद्र राजपूत): एक तरफ प्रदेश सरकार बेटियों को बचाने के कई योजनाएं चला रही है जिससे कि माता पिता पर बच्चों के पालन पोषण का बोझ ना पड़े, दूसरी तरफ नवजात बच्चियों की हत्याएं हो रही है। दरअसल, होशंगाबाद थाना कोतवाली क्षेत्र के खोजनपुर निवासी एक महिला ने अपनी दुधमुंही बच्ची का गला दबाकर हत्या कर दी। महिला ने घटना का कारण बच्ची को बिल्ली द्वारा नोचना बताया था। जबकि पोस्टमार्टम में बच्ची की मौत का कारण गला दबाकर हत्या करना बताया गया है। नवजात शिशु की हत्या के मामले में सिटी कोतवाली पुलिस ने 24 घंटे पर्दाफाश कर दिया है। सच सामने आने के बाद महिला ने बताया कि वह बच्ची का पालन पोषण करने में असमर्थ थी इसलिए उसे मार डाला।
पुलिस को जांच में यह भी पता चला है कि 3 साल पहले भी उसकी एक बेटी की मौत हो चुकी है। यह बच्ची 6 महीने की थी। मौत की वजह पीलिया बताई गई है, लेकिन पुलिस अब इसे लेकर भी जांच कर रही है। हमेशा से सुनते हैं आए कि माता कभी कुमाता नहीं हो सकती। लेकिन होशंगाबाद के खोजनपुर ईदगाह की पूजा बड्डे पति दुर्गेश बड्डे ने अपनी दुधमुंही बच्ची की हत्या कर दी। मामले का खुलासा पोस्टमार्टम से हुआ। एसडीओपी मंजू चैहान ने बताया कि 28 दिन की बच्ची की पोस्टमार्टम की रिपोर्ट के बाद मामला पुलिस के पास पहुंचा था।
थाना कोतवाली पुलिस ने मामला दर्ज करके जांच शुरु की तो गांव में तरह तरह की कहानियां निकल कर सामने आई। पुलिस ने मामले को गंभीरता से लेते हुए बच्ची को पूछताछ के लिए पुलिस थाने बुलाया। जो पहले तो पुलिस को गुमराह करती रही पुलिस द्वारा बारीकी से पूछताछ की तो उसने बताया कि उसके कुल 4 बच्चे थे सबसे बड़ा लड़का 5 वर्ष का इसमें छोटी लड़की की पूर्व में मृत्यु हो गई थी, तीसरी लड़की डेढ़ साल की है व चौथी लड़की 28 दिन की थी। वह बहुत कमजोर हो गई थी। खून की कमी हो गई थी कि वह बच्चों को पालने में असमर्थ थी। इसी कारण उसने नवजात शिशु का दुपट्टे से गला घोट दिया है।