Edited By ASHISH KUMAR, Updated: 11 Jan, 2019 06:58 PM
जिले के हटा सिविल अस्पताल का हाल बेहाल है। आए दिन सुर्खियों में रहने वाले हटा का सिविल
अस्पताल में गड़बड़ियां थमने का नाम नही ले रही। अस्पताल में मरीजों के साथ सुविधाओं के नाम पर मजाक किया जाता है...
दमोह: जिले के हटा सिविल अस्पताल का हाल बेहाल है। आए दिन सुर्खियों में रहने वाले हटा का सिविल अस्पताल में गड़बड़ियां थमने का नाम नही ले रही। अस्पताल में मरीजों के साथ सुविधाओं के नाम पर मजाक किया जाता है।
अस्पताल में शुक्रवार को हुए नसबंदी शिविर में आपरेशन कराने आई महिलाओं को स्ट्रेचर नसीब नही हुआ, आपरेशन थियेटर से इनके परिजन महिलाओं को हाथो पर झुलाते हुए वार्डो में पलंग तक ले गए,अस्पताल की लापरवाही यंही खत्म नही होती, यहां के बच्चा वार्ड में दिन भर आवारा कुत्तों और पिल्लों का डेरा रहता है जो मरीजों के पलंग के नीचे उथल कूद करते कभी भी देखे जा सकते हैं मगर कर्मचारियों को इतनी फुर्सत नहीं कि इन आवारा जानवरो को भगा सकें।
इस संबंध में जब बीएमओ डॉ पीडी करगेया से बात की गी तो उन्होंने अब तक के सभी 22 शिविरों में इस प्रकार लापरवाही को मरीज महिलाओं के पति द्वारा जबरन हाथों में लाने की सफाई दी, यही नही आवारा जानवरो की बात भी हंस कर टाल दी।
बता दें कि, हटा के सिविल अस्पताल में गंभीर अनियमितताएं बरती जा रही हैं पिछले दिनों आशा कार्यकर्ताओं ने पैसे देकर नियुक्ति और मानदेय न मिलने पर बबाल किया था। अस्पताल कर्मचारियों की नामजद शिकायत के बावजूद यहां बीएमओ द्वारा कोई कार्रवाई नहीं की जा रही।