भारतरत्न श्रद्धेय स्वर्गीय अटल बिहारी वाजपेयी की पुण्यतिथि पर आयोजित पुष्पांजलि कार्यक्रम में शामिल हुए मुख्यमंत्री साय

Edited By Himansh sharma, Updated: 16 Aug, 2025 06:51 PM

floral tribute program organized on the death anniversary of late vajpayee

मुख्यमंत्री साय ने कहा कि हमने 25 सप्ताह तक चलने वाले छत्तीसगढ़ राज्य निर्माण के ‘रजत महोत्सव’ का शुभारंभ किया है।

रायपुर। आज हम छत्तीसगढ़वासी अपने पते में जिस "छत्तीसगढ़" शब्द का उपयोग करते हैं, वह श्रद्धेय अटल जी की ही देन है। वे हमारे छत्तीसगढ़ राज्य के निर्माता के रूप में सदैव स्मरणीय रहेंगे। मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने पूर्व प्रधानमंत्री भारतरत्न श्रद्धेय स्वर्गीय अटल बिहारी वाजपेयी की पुण्यतिथि के अवसर पर राजधानी रायपुर स्थित अवंती विहार चौक पर आयोजित माल्यार्पण एवं पुष्पांजलि समारोह को संबोधित करते हुए यह बात कही। मुख्यमंत्री साय ने अटल बिहारी वाजपेयी की प्रतिमा पर माल्यार्पण कर श्रद्धांजलि अर्पित की और उनका पुण्य स्मरण किया। मुख्यमंत्री साय ने कहा कि अटल जी बहुमुखी प्रतिभा के धनी थे। पत्रकार, कवि और राजनेता के रूप में उन्होंने अपनी विशिष्ट पहचान बनाई। सभी लोग उनके भाषण के कायल होते थे। 

मुख्यमंत्री साय ने कहा कि हमने 25 सप्ताह तक चलने वाले छत्तीसगढ़ राज्य निर्माण के ‘रजत महोत्सव’ का शुभारंभ किया है। आज यदि हम छत्तीसगढ़ की रजत जयंती वर्ष मना रहे हैं, तो यह अटल जी की ही देन है। इस 25 सप्ताह में सभी विभागों द्वारा विविध कार्यक्रमों का आयोजन किया जाएगा। यह वर्ष अटल जी का जन्म शताब्दी वर्ष भी है। हमने उनकी स्मृति में इस वर्ष को ‘अटल निर्माण वर्ष’ घोषित किया है, जिसके तहत अधोसंरचना विकास में तेजी लाने के लिए अलग से बजट का प्रावधान रखा गया है।

मुख्यमंत्री साय ने कहा कि अटल जी ने जिस उद्देश्य से छत्तीसगढ़ राज्य का निर्माण किया, उन उद्देश्यों की पूर्ति करते हुए हमारा राज्य तेजी से तरक्की की राह पर बढ़ रहा है। इन 25 वर्षों की सबसे बड़ी उपलब्धि यह है कि हमने अगले 25 वर्षों में विकसित राज्य बनने की न केवल संकल्पना की है, बल्कि इसे पूरा करने के लिए ‘छत्तीसगढ़ अंजोर विजन-2047’ रोडमैप भी तैयार किया है।

मुख्यमंत्री साय ने अपने संस्मरण साझा करते हुए कहा कि मेरा सौभाग्य रहा कि जब अटल जी तीसरी बार देश के प्रधानमंत्री बने, उस समय मैं सांसद के रूप में निर्वाचित हुआ। मैंने संसद में अटल जी के व्याख्यान सुने हैं। लोकसभा में उनके संबोधन का हम सब इंतजार करते थे। उनका चुटीला अंदाज, बेबाकी और अपनी बात रखने की कला सबका मन मोह लेती थी। जब छत्तीसगढ़ राज्य निर्माण संबंधी बिल संसद में प्रस्तुत हुआ, उस चर्चा को भी मुझे श्रोता के रूप में सुनने का अवसर मिला। उस समय हमारे राज्य से राज्यसभा सांसद स्वर्गीय लखी राम अग्रवाल एवं स्वर्गीय दिलीप सिंह जूदेव ने भी अपनी बात संसद में रखी। मुख्यमंत्री साय ने कहा कि अटल जी ने हमें सिखाया कि सिद्धांतों पर हमेशा दृढ़ रहना चाहिए। वे सिद्धांत एवं मूल्यों की राजनीति को ही महत्व देते थे। 

मुख्यमंत्री ने कहा कि अटल जी का जीवन इस बात का प्रमाण है कि राजनीति केवल सत्ता प्राप्ति का माध्यम नहीं है, बल्कि संवाद, सहमति और संवेदना की कला भी है। उनकी वाणी आज भी हमारी धड़कनों में गूंजती है। 

कार्यक्रम को विधायक श्री पुरंदर मिश्रा एवं राज्य खाद्य नागरिक एवं आपूर्ति निगम के अध्यक्ष श्री संजय श्रीवास्तव ने भी संबोधित किया। 

इस अवसर पर किशोर महानंद, जयंती पटेल, अवंती विहार व्यापारी संघ के पदाधिकारी सहित अन्य गणमान्य नागरिक उपस्थित थे।

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