Edited By meena, Updated: 11 Sep, 2024 08:40 PM
ट्रेन और मालगाड़ियों में रेलवे गार्ड के पास दिखाई देने वाला भारी-भरकम बॉक्स सरकार हटाने की तैयारी कर रही है...
गुना (मिस्बाह नूर) : ट्रेन और मालगाड़ियों में रेलवे गार्ड के पास दिखाई देने वाला भारी-भरकम बॉक्स सरकार हटाने की तैयारी कर रही है। इसके स्थान पर रेलवे गार्ड को ट्रॉली बैग दिया जा रहा है। इस निर्णय के विरोध में देशभर के रेलवे गार्ड सरकार के खिलाफ मुखर हो गए हैं। रेलवे की प्रस्तावित नई व्यवस्था का विरोध करते हुए बुधवार को गुना सहित सभी रेलवे स्टेशनों पर एक दिवसीय धरना देकर गार्ड्स ने केंद्र सरकार से आव्हान किया है कि गार्ड लाइन व्यवस्था बरकार रखी जाए और ट्रॉली बैग पकड़ाकर उन्हें कुली न बनाने का प्रयास न किया जाए।
बता दें कि ट्रेन के सबसे आखिरी हिस्से में मौजूद रहने वाले रेलवे गार्ड को उनसे संबंधित सामग्री रखने के लिए अब तक एक बॉक्स ले जाने की परम्परा रही है। इस बॉक्स को गार्ड लाइन बॉक्स कहा जाता है। जिसे रेलवे स्टेशन से लेकर ट्रेन तक चढ़ाने के लिए ठेकाकर्मी भी उपलब्ध कराया जाता है। नई व्यवस्था के तहत रेलवे के गार्ड को अब लोहे का बॉक्स नहीं मिलेगा बल्कि एक ट्रॉली बैग दिया जाएगा, जिसमें करीब 20 किलो वजनी सामान उठाकर रेलवे गार्ड को खुद ही ट्रेनों तक ले जाना पड़ेगा।
निर्णय की जानकारी मिलते ही ऑल इंडिया गार्ड्स काउंसिल ने विरोध शुरु कर दिया है। 11 सितम्बर को एक दिवसीय धरना दिया गया। जिसमें मौजूद रेलवे के गार्ड ने बताया कि उनका पद ट्रेन मैनेजर के समकक्ष होता है। 20 किलो वजनी ट्रॉली बैग उठाने से उनके पद की गरिमा को ठेस पहुंचेगी, ट्रेन मैनेजर को कूली की तरह काम करना पड़ेगा। इस बॉक्स की उपयोगिता उनके लिए महत्वपूर्ण है। क्योंकि यह सुरक्षित रहता है, कई ट्रेनों में सीट नहीं होने पर इसे सीट के रूप में इस्तेमाल किया जा सकता है। इसमें सामान भी आसानी से रख सकते हैं। जबकि नए ट्रॉली बैग इतने उपयोगी साबित नहीं होंगे। इसी तरह बॉक्स उठाने वाले कर्मचारी भी सरकार से अनुरोध करते नजर आए कि उनकी रोजी-रोटी समाप्त करने का प्रयास न किया जाए। जैसा चल रहा है वह चलने दिया जाए। नई व्यवस्था अगर पूरी तरह लागू होती है तो हजारों लोगों का रोजगार छिन सकता है। बुधवार को किए गए धरना-प्रदर्शन में डब्ल्यू.सी.आर.एम.एस. के सचिव बीएस कुशवाह, डब्ल्यू.सी.आर.ई.यू. के पदाधिकारी मुकेश मीना, ए.आई.एल.आर.एस.ए. के पदाधिकारी अशोक कुमार, पी.एम.के.आर.पी. के पदाधिकारी राजेश दुबे, एमडी मीना, बीआर मीना, रवि मौर्य, अश्विनी शर्मा, जितेंद्र मीना, शंकरदयाल सहित कई रेलवे कर्मचारी शामिल रहे।