दुनिया और करीब से जानेगी सम्राट विक्रमादित्य का इतिहास, 250 कलाकार मंच पर जीवित करेंगे राजा का जीवन, जानें कैसे क्या होगा?

Edited By meena, Updated: 11 Apr, 2025 02:02 PM

the world will get to know the history of emperor vikramaditya more closely

दुनिया 12-14 अप्रैल तक सम्राट विक्रमादित्य के जीवन चरित्र को और करीब से देखेगी...

भोपाल : दुनिया 12-14 अप्रैल तक सम्राट विक्रमादित्य के जीवन चरित्र को और करीब से देखेगी। देश की जनता उनके पराक्रम, शौर्य, दानशीलता, न्यायप्रियता और सुशासन से परिचित होगी। दरअसल, मध्यप्रदेश की मोहन सरकार नई दिल्ली में सम्राट विक्रमादित्य की शोभा यात्रा के साथ-साथ महानाट्य का महामंचन कर रही है। यह कार्यक्रम लाल किला मैदान के माधव दास पार्क में आयोजित होगा। इस दौरान सम्राट विक्रमादित्य के जीवन से जुड़ी प्रदर्शनी भी लगाई जाएगी। इसके अलावा कार्यक्रम स्थल पर मध्यप्रदेश के प्रसिद्ध व्यंजनों के स्टॉल भी लगाए जाएंगे।

गौरतलब है कि, कार्यक्रम से पहले 11 अप्रैल को चांदनी चौक के फतेहपुरी से लाल किले तक सम्राट विक्रमादित्य की शोभा यात्रा निकाली जाएगी। इस कार्यक्रम की मुख्य अतिथि नई दिल्ली की मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता होंगी। महानाट्य का आयोजन महाराजा विक्रमादित्य शोधपीठ कर रहा है। इसकी प्रस्तुति उज्जैन की विशाला सांस्कृतिक एवं लोकहित सिमित की ओर से दी जाएगी। बता दें, महानाट्य को पद्मश्री डॉ. भगवतीलाल राजपुरोहित ने लिखा है। जबकि, निर्दशन संजीव मालवीय का है। इस महानाट्य में विक्रमादित्य के जन्म से लेकर सम्राट बनने तक की कहानियां प्रस्तुत की जाएंगी। इस महानाट्य में करीब 250 कलाकार कला का प्रदर्शन करेंगे।

स्पेशल इफेक्ट से सबकुछ लगेगा रीयल

तीन दिन तक चलने वाले इस महानाट्य के दृश्यों को सजीव बनाने के लिए पालकी, रथ, घोड़ों और एलईडी ग्राफिक्स के स्पेशल इफेक्ट का प्रयोग किया जाएगा। कार्यक्रम में महाराजा विक्रमादित्य शोधपीठ द्वारा ‘विक्रमादित्यकालीन मुद्रा और मुद्रांक’ की प्रदर्शनी लगाई जाएगी। भारतीय ऋषि वैज्ञानिक परंपरा पर केंद्रित ‘आर्ष भारत’ प्रदर्शनी का भी आयोजन किया जाएगा। इसमें 100 से अधिक ऋषियों के जीवन और योगदान को प्रदर्शित किया जाएगा। जनसंपर्क विभाग द्वारा ‘मध्यप्रदेश का विकास एवं उपलब्धियां’ विषय पर और पर्यटन एवं उद्योग विभाग द्वारा भी प्रदर्शनियां लगाई जाएंगी।

फूडकोर्ट में होंगे एमपी के खास व्यंजन

दूसरी ओर, कार्यक्रम स्थल पर मध्यप्रदेश राज्य पर्यटन विकास निगम द्वारा कार्यक्रम स्थल में फूडकोर्ट लगाया जाएगा। इसके माध्यम से दर्शक प्रदेश के पारंपरिक व्यंजनों का स्वाद ले सकेंगे। फूडकोर्ट में प्रदेश के विभिन्न अंचलों के पकवान- बघेलखंडी निमोना, मालवा की कॉर्न पेटिस और भुट्टे की कीस, इंदौरी पोहा और विंध्य की इंद्रहार-कढ़ी-भात उपलब्ध होंगे। प्रदेश के विशिष्ट पेय जैसे सन्नाटा, नींबू पुदीना, आम पना, सब्जा शिकंजी, गुलाब लस्सी, कुल्हड़ चाय, प्रसिद्ध मिष्ठान जैसे मावा बाटी, जलेबी और श्रीअन्न व्यंजन जैसे कोदो भात, कुटकी गुड खीर और सवां खीर भी मेनू में शामिल किए गए हैं।

गौरवशाली रहा है हमारे नायकों का इतिहास- सीएम डॉ. यादव

इसे लेकर मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि मध्यप्रदेश शासन द्वारा ‘विक्रमोत्सव 2025’ का आयोजन किया जा रहा है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की प्रेरणा से राज्य सरकार ‘विरासत से विकास’ के ध्येय वाक्य पर काम कर रही है। इसी क्रम में अतीत के गौरवशाली नायकों के जीवन के अलग-अलग पहलुओं को जनता के सामने लाने के प्रयास किए जा रहे हैं। विक्रम संवत के प्रवर्तक सम्राट विक्रमादित्य का शासन काल भारतीय साहित्य, ज्योतिष, आयुर्वेद, गणित और चिकित्सा विज्ञान का स्वर्णिम युग भी रहा है।

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