Edited By rehan, Updated: 31 Aug, 2018 12:40 PM
विज्ञान और टैक्नोलॉजी के युग में अंधविश्वास किस कदर हावी है। इसकी एक बानगी सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र बुढार में देखने को मिली। जहां अस्पताल के पीएम रूम में कुंए में गिरने से बच्चे की हुई मौत के बाद परिजनों ने ज़िंदा करने के लिए उसका शव नमक के ढेर...
शहडोल : विज्ञान और टैक्नोलॉजी के युग में अंधविश्वास किस कदर हावी है। इसकी एक बानगी सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र बुढार में देखने को मिली। जहां अस्पताल के पीएम रूम में कुंए में गिरने से बच्चे की हुई मौत के बाद परिजनों ने ज़िंदा करने के लिए उसका शव नमक के ढेर में रख दिया। इसके लिए बाकायदा परिजनों ने बीएमओ की परमीशन भी ली। जानकारी के मुताबिक धनपुरी थाना क्षेत्र के वार्ड नं 15 निवासी हिमांशु गुप्ता अपने घर के पास साइकिल चला रहा था। इसी दौरान कुंए की दीवार में पैर रखते ही वो बेकाबू हो गया और कुंए में जा गिरा। घटना के बाद स्थानीय लोगों ने उसे बचाने की बहुत कोशिश की। लेकिन तब तक उसकी मौत हो चुकी थी। सूचना मिलते ही मौके पर पहुंची पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भिजवाया।
अस्पताल में मृत के पिता को व्हाट्सएप पर किसी ने शव को चार घंटे नमक में शव रखने पर जीवित होने का ज़िक्र किया। इसके लिए परिजनों ने बीएमओ से परमीशन मांगी। जिस पर पुलिस की मौजूदगी में डॉक्टरों के सामने ये अंधविश्वास का खेल चला।