Edited By Vikas kumar, Updated: 15 Dec, 2019 11:23 AM
मध्यप्रदेश में काफी लंबे समय से कर्मचारी आयोग की उठ रही मांग अब पूरी होने वाली है। प्रदेश की कांग्रेस सरकार ने सत्ता में आते ही वादा किया था कि वह कर्मचारी आयोग का गठन करेगी, औ...
भोपाल: मध्यप्रदेश में काफी लंबे समय से कर्मचारी आयोग की उठ रही मांग अब पूरी होने वाली है। प्रदेश की कांग्रेस सरकार ने सत्ता में आते ही वादा किया था कि वह कर्मचारी आयोग का गठन करेगी, और अब कमलनाथ सरकार ने अपना वादा पूरा भी कर दिया है। कमलनाथ कैबिनेट में इस प्रस्ताव को पास कर दिया गया है। यह आयोग कर्मचारियों को होने वाली समस्याओं के निराकरण के लिए बनाया गया है।
कर्मचारी आयोग के गठन से प्रदेश के 15 लाख से ज्यादा, नियमित, संविदा, अंशकालिक, कार्यभारित, संविदा, निकायों के कर्मचारियों के अलावा पेंशनर्स से जुड़े मुद्दों पर विचार-विमर्श करके सिफारिश सौंपेगा। कर्मचारियों की कार्यप्रणाली को बेहतर बनाने की अनुशंसा करेगा। आपको बता दें कि इसके अध्यक्षों और सदस्यों का ऐलान भी जल्द ही किया जाएगा। सरकार की तरफ से आयोग के सदस्य चुने जाने की घोषणा की जा चुकी है।
कर्मचारी आयोग में रिटायर्ड IAS अजय नाथ अध्यक्ष, योगेश सोनगरिया (रिटायर्ड जज), अखिलेश अग्रवाल (रिटायर्ड इंजीनियर इन चीफ) सदस्य हैं। वीरेंद्र खोगल को कर्मचारियों का प्रतिनिधी सदस्य बनाया गया है। जीएडी, वित्त विभाग के चुने गए अफसर भी इसके सदस्य होंगे। रिटायर्ड IAS मिलिंद वाइकर को कर्मचारी आयोग का सचिव नियुक्त किया गया है। बता दें कि कर्मचारी आयोग राज्य सरकार की सेवा से रिटायर होने वाले पेंशनर्स को दी जा रही सुविधाओं के साथ उनकी समस्याओं को भी दूर करेगा।