Edited By suman, Updated: 02 Apr, 2019 03:12 PM
मध्यप्रदेश के सांसदों और विधायकों की संपत्ति में इन पांच सालो ं में जबरदस्त बढ़ोत्तरी हुई है। एडीआर की रिपोर्ट में ये जानकारी सामने आई है। रिपोर्ट के अनुसार, पांच साल में सांसदों और विधायको की संपत्ति 200 से 400 गुना तक बढ़ गई है। तीन सांसदों और 16...
भोपाल: मध्यप्रदेश के सांसदों और विधायकों की संपत्ति में इन पांच सालो ं में जबरदस्त बढ़ोत्तरी हुई है। एडीआर की रिपोर्ट में ये जानकारी सामने आई है। रिपोर्ट के अनुसार, पांच साल में सांसदों और विधायको की संपत्ति 200 से 400 गुना तक बढ़ी है। वहीं तीन सांसदों और 16 विधायकों ने शपथ पत्र में अपने आईटीआर की जानकारी नहीं दी है।
इन सांसदों ने नहीं दी आईटीआर की जानकारी
बालाघाट सांसद बोध सिंह भगत, शहडोल सांसद ज्ञान सिंह, रीवा से जनार्दन मिश्राने अपने चुनावी शपथ पत्र में आईटीआर की जानकारी नहीं दी है। वहीं 16 विधायकों ने भी चुनावी शपथ पत्र में आईटीआर की जानकारी नहीं दी है। इनमें 5 भाजपा विधायक और 11 कांग्रेस विधायक शामिल हैं। एडीआर ने आयकर विभाग को पत्र लिखकर अधूरी वित्तीय जानकारी देने वाले सांसदों और विधायकों पर जांच और कार्रवाई की मांग की है।
इन सांसदों की संपत्ति में हुआ इजाफा
ज्योतिरादित्य सिंधिया की संपत्ति 18 करोड़ बढ़ी
- सिंधिया की संपत्ति में 122 फीसदी का इजाफा हुआ है।
- साल 2009 में सिंधिया की संपत्ति 14 करोड़ थी जो साल 2014 में बढ़कर 33 करोड़ हो गई.
सुषमा स्वराज की सम्पति 10 करोड़ बढ़ी
- 2009 में संपत्ति थी 7 करोड़
- 2014 में हुई 17करोड़
- 139 फीसदी का इजाफा हुआ हैॉ।
उदय प्रताप सिंह की संपत्ति 9 करोड़ बढ़ी
- 2009 में संपति थी 3 करोड़
- 2014 में 13 करोड़
- 234 फीसदी इजाफा हुआ है।
सुमित्रा महाजन की संपत्ति 135 फीसदी बढ़ी
- 2009 में 79 लाख की संपत्ति जो कि 2014 में एक करोड़ से अधिक की हो गई।
नरेंद्र सिंह तोमर की संपत्ति में 230 प्रतिशत का इजाफा
- तोमर की 2009 में संपत्ति 34 लाख थी जो कि 2014 में 1 करोड़ से अधिक की हो गई।
वीरेंद्र खटीक की संपत्ति 244 फीसदी बढ़ी
- 2009 में 25 लाख थी जो 2014 में बढ़कर 87 लाख हो गई।
गणेश सिंह की संपत्ति 413 फीसदी बढ़ी
- 2009 में 73 लाख थी जो कि 2014 में 3 करोड़ से ज्यादा की हो गई।
ज्योति धुर्वे की संपत्ति 268 फीसदी बढ़ी
- 2009 में संपति थी 71 लाख जो 2014 में हो 2 करोड़ की हो गई।
राकेश सिंह की संपत्ति 188 फीसदी बढ़ी
- 2009 में 92 लाख जो 2014 में बढ़कर एक करोड़ से अधिक की हो गई।