Edited By ASHISH KUMAR, Updated: 19 Apr, 2019 11:26 AM
बीजेपी ने टिकट वितरण से नाराज बागी नेताओं के खिलाफ कड़ा रुख अपना लिया है। जिसमें पार्टी में बगावत करने वाले बोध सिंह भगत को बीजेपी ने बाहर का रास्ता दिखा दिया है।बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष राकेश सिंह ने बोध सिंह भगत को पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से...
भोपाल: बीजेपी ने टिकट वितरण से नाराज बागी नेताओं के खिलाफ कड़ा रुख अपना लिया है। जिसमें पार्टी में बगावत करने वाले बोध सिंह भगत को बीजेपी ने बाहर का रास्ता दिखा दिया है।बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष राकेश सिंह ने बोध सिंह भगत को पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से निष्कासित कर दिया है। चुनावी समय में बगावत कर रहे नेताओं पर पार्टी की यह पहली बड़ी कार्रवाई है। जल्द ही अन्य सीटों पर भी ऐसी ही कार्रवाई देखी जा सकती है।
बालाघाट सीट से बीजेपी के अधिकृत उम्मीदवार ढाल सिंह बिसेन के चुनाव मैदान में होने के बावजूद निर्दलीय प्रत्याशी के तौर पर चुनाव लड़ने वाले वर्तमान सांसद बोध सिंह भगत को आज पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से निष्कासित कर दिया। प्रदेश पार्टी कार्यालय की ओर से जारी विज्ञप्ति के अनुसार प्रदेश भाजपा अध्यक्ष राकेश सिंह ने भगत को अनुशासनहीनता के आरोप में प्राथमिक सदस्यता से निष्कासित किया है।
दरअसल, बालाघाट टिकट वितरण को लेकर पार्टी में खींचतान शुरु हो गई थी। टिकट कटने से चर्चा से सक्रीय हुए सांसद बोध सिंह भगत की पूर जोर कोशिश थी कि उन्हें टिकट मिले। लेकिन बीजेपी आलाकमान ने गौरीशंकर बिसेन को प्रत्याशी घोषित कर दिया। पार्टी के इस फैसले से भगत नाराज होकर निर्दलीय मैदान में कूद गए। उनका साफ़ कहना था कि वह पार्टी तो छोड़ देंगे लेकिन मैदान नहीं छोड़ेंगे। वहीं उन्होंने आरोप लगाया था कि भाजपा ने गौरीशंकर बिसेन के दबाव में मेरा टिकट काटा है, जबकि मेरे खिलाफ किसी तरह का कोई आरोप नहीं था। वहीं उन्होंने ढाल सिंह को कमजोर प्रत्याशी बताया था।
भगत की नाराजगी को दूर करने के लिए पार्टी ने संगठन महामंत्री सुहास भगत को जिम्मेदारी सौंपी। लेकिन वे इसमें सफल नहीं रहे। इसके बाद प्रभात झा और नरोत्तम मिश्रा भी उन्हें मनाने में असफल रहे। भगत ने नाम वापस लेने से इंकार कर दिया था। पूर्व सीएम शिवराज ने बोधसिंह से एक दिन पहले फोन पर बात की मगर बात नहीं बनी।